क्या भविष्य का निवेश है कैट बॉन्ड? भारत को अपनाना चाहिए?

क्या भविष्य का निवेश है कैट बॉन्ड? भारत को अपनाना चाहिए?
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हम सभी बीमा कराते हैं, पर क्या कभी सोचा है कि बीमा कंपनियां खुद को कैसे बचाती हैं? आज हम बात कर रहे हैं एक अनोखे फाइनेंशियल टूल – कैट बॉन्ड के बारे में! अगर भूकंप या तूफान जैसी आपदाएं न आए तो कैट बॉन्ड यानि आपदा बॉन्ड (कैटास्ट्रोफे बॉन्ड) आपको बेहतर रिटर्न दे सकते हैं। लेकिन, आखिर यह क्या है और कैसे काम करते है आइए समझते हैं।

क्या मामला है?

1992 में अमेरिका में एक भयानक तूफान आया जिसने सब कुछ तबाह कर दिया। बीमा कंपनियों को भारी भरकम भुगतान करना पड़ा और कुछ तो दिवालिया भी हो गईं। इससे उन्हें एहसास हुआ कि उन्हें खुद को भी बचाने की जरूरत है। इसलिए 1997 में कैट बॉन्ड का जन्म हुआ! 

चलिए समझने का प्रयास करते है कि आखिर यह कैट बॉन्ड क्या है और इससे निवेशकों को क्या फायदा है?

कैट बॉन्ड क्या है?

कल्पना कीजिए, एक बीमा कंपनी $100 मिलियन की संपत्ति का बीमा करती है। लेकिन तूफान आने पर नुकसान कितना होगा, ये कोई नहीं जानता। अपनी इस अनिश्चितता को दूर करने के लिए कंपनी $50 मिलियन के बॉन्ड जारी करती है, जिसे आप और मैं खरीद सकते हैं, इसके साथ ही इस पर ब्याज भी मिलता है!

लेकिन दूसरे बॉन्ड्स से यह थोड़ा अलग है। आमतौर पर बॉन्ड की अवधि खत्म होने पर आपका निवेश किया हुआ पैसा वापस मिल जाता है। कैट बॉन्ड में भी ऐसा ही होता है, लेकिन तब नहीं जब कोई आपदा आ जाए। अगर भूकंप की तीव्रता एक निश्चित स्तर से अधिक हो जाए या बाढ़ से होने वाला नुकसान एक निश्चित राशि से ज्यादा हो, तो बीमा कंपनी इन बॉन्ड्स से जुटाए पैसों का इस्तेमाल करके उस नुकसान का भुगतान कर सकती है और ऐसी स्थिति में निवेशकों को एक पैसा भी वापस नहीं मिलेगा।

अभी आप सोच रहे होंगे कि इसमें कोई आपदा आने पर पैसा वापस नहीं मिलेगा, तो कोई इसमें निवेश क्यों करेगा? चलिए समझते है!

कोई इसमें निवेश क्यों करेगा?

इस जोखिम के बदले में कैट बॉन्ड्स पर मिलने वाला ब्याज आम बॉन्ड्स से ज्यादा होता है। निवेशक उम्मीद करते हैं कि प्राकृतिक आपदाएं नहीं होंगी और उन्हें अच्छा रिटर्न मिलेगा। इस तरह बीमा कंपनियां खुद को सुरक्षित करती हैं और निवेशक भी अच्छा पैसा कमा सकते हैं।

क्या भारत भी अपनाएगा कैट बॉन्ड?

पिछले कुछ समय से भारत में भी ‘कैट बॉन्ड’ यानी बीमा से जुड़े खास बॉन्ड को जारी करने की बात चल रही है। इसे लेकर कई चर्चाएं हो चुकी हैं। लेकिन फिलहाल कुछ चिंताओं की वजह से इसे मंजूरी नहीं मिली है। जैसे, लोगों को अभी इस तरह के बॉन्ड पूरी तरह समझ नहीं आते, और इसे किन खास हादसों से जोड़ा जाए और निवेश करने वालों और बॉन्ड जारी करने वालों के बीच संतुलन कैसे बनाया जाए।

हालांकि, भारत अभी इसे अपनाने को तैयार नहीं है, लेकिन इतिहास बताता है कि बाजार एक बार खुल जाए तो तेजी से आगे बढ़ता है। हो सकता है आने वाले समय में भारत में भी कैट बॉन्ड का चलन देखने को मिले।

इसमें निवेशकों के लिए क्या है?

फिलहाल, भारत में कैट बॉन्ड सीधे तौर पर उपलब्ध नहीं हैं। लेकिन विदेशी बाजारों में इनमें निवेश किया जा सकता है। हालांकि, इसमें काफी जोखिम है और आपको अंतरराष्ट्रीय बाजारों की अच्छी समझ होनी चाहिए।

तो अगर आप थोड़े हटकर निवेश के बारे में सोच रहे हैं, तो कैट बॉन्ड आपके लिए एक विकल्प हो सकते हैं। लेकिन याद रखें, किसी भी निवेश से पहले पूरी जानकारी लेना जरूरी है।

भविष्य की बातें

2023 में कैट बॉन्ड ने अच्छा प्रदर्शन किया। लेकिन जलवायु परिवर्तन के कारण आपदाओं का खतरा बढ़ रहा है, जिसका मतलब है कि बीमा कंपनियां भविष्य में इनका ज्यादा इस्तेमाल कर सकती हैं। निवेशकों के लिए सवाल ये है कि क्या वो इस जोखिम को उठाना चाहते हैं?

इसके साथ ही, निवेश का निर्णय लेने से पहले अपनी फाइनेंशियल स्थिति, जोखिम लेने की क्षमता और निवेश के लक्ष्यों को ध्यान से कंसीडर करें।  

आज के लिए सिर्फ इतना ही है। उम्मीद करते है यह जानकारी आपको रोचक लगी होगी। इसे अपने दोस्तों के साथ शेयर करना न भूले। 

*यह आर्टिकल केवल जानकारी के उद्देश्य के लिए है। यह कोई निवेश सलाह नहीं है।

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